एक_नया_चक्रव्यूह

बेहोशी टूटने के बाद अपनी आपबीती सुनाते हुए आंखों से आंसू टपकाते हुए अपने एनकाउंटर का अंदेशा जाहिर करना....

     यह वाकया है लगभग 10 घंटे लापता रहने के बाद बेहोशी की हालत में मिले विश्व हिंदू परिषद के दबंग कार्यकारी अध्यक्ष डॉक्टर प्रवीण तोगड़िया जी का !!

     हुआ यूं कि 15 जनवरी सोमवार की सुबह लगभग 10:00 बजे राजस्थान पुलिस अहमदाबाद में डॉक्टर तोगड़िया को एक पुराने मामले में सम्मन देने गई थी तभी मिडिया पर एक खबर फ़ैल गयी कि डॉ तोगड़िया गिरफ्तार कर लिए गए। उस के बाद अहमदाबाद, गांधीनगर, सूरत, मोरबी आदि गुजरात के विभिन्न शहरों में गिरफ्तारी के विरोध में VHP के कार्यकर्त्ता प्रदर्शन करने लगे जबकि कुछ ही देर बार गुजरात पुलिस के ज्वाइंट कमिश्नर ने गिरफ्तारी का खंडन भी किया।

     लेकिन इस पूरे मामले मेँ ट्विस्ट तब आया जब अचानक डॉक्टर तोगड़िया लापता हो गए और उनका मोबाइल भी स्विच ऑफ आने लगा। तुरंत पुलिस प्रशासन हरकत में आया और पूरे दिन की मशक्कत के बाद आखिर अहमदाबाद के ही शाही बाग इलाके में किसी अज्ञात शख्स को डॉक्टर तोगड़िया बेहोशी की हालत में मिले उस शख्स ने तुरंत 108 एंबुलेंस को फोन पर सूचना दी हॉट डॉक्टर तोगड़िया को अस्पताल में भर्ती करवाया गया, जहां डॉक्टरों ने जांच में पाया कि बेहोशी का कारण शरीर में शुगर का लेवल कम होना है।

     आज सुबह होश में आने के बाद दिए गए अपने बयान में डॉक्टर तोगड़िया ने बताया कि वह कल सुबह 10:45 पर विश्व हिंदू परिषद के कार्यालय से ऑटोरिक्शा कर निकले थे और उन्होंने अपनी जेड प्लस सुरक्षा को भी अपने साथ लेने से मना कर दिया, साथ ही अपना मोबाइल भी स्विच ऑफ कर दिया, फिर क्या हुआ इस बारे में वह सिवाय एनकाउंटर की साजिश के कुछ भी नहीं बता पाये।

     इस मामले की विडंबना देखिए कि होश में आने के बाद डॉक्टर तोगड़िया से गुजरात विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के साथी रहे हार्दिक पटेल मिलता है और फिर गुजरात कांग्रेस के नेता अर्जुन मोढवाडिया भी मिले। डॉक्टर तोगड़िया से मिलने के बाद हार्दिक पटेल मीडिया को बयान देता है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा अध्यक्ष अमित शाह डॉक्टर तोगड़िया की हत्या करवाना चाहते हैं।

     यही डॉक्टर तोगड़िया अपने युवावस्था में RSS से जुड़े थे और नरेंद्र मोदी जी एवं डॉक्टर तोगड़िया एक साथ एक ही स्कूटर पर RSS के प्रचारक का काम करते थे बाद में वह अपनी डॉक्टरी की पढ़ाई और सफल कैंसर सर्जन के रूप में सेवा करते हुए विश्व हिंदू परिषद से जुड़ गए और अपने कट्टर मुस्लिम विरोधी भाषण एवं दबंग हिंदूवादी नेता की छवि बनाने में सफल रहे।

      आखिर इतने दबंग नेता को मोदी का विरोध करने के लिए हार्दिक पटेल जैसे लोगों की जरूरत कैसे पड़ी, इस पर प्रश्न चिन्ह लगाना जरूरी हो जाता है। शायद ऐसा लगता है कि डॉक्टर तोगड़िया के मन में महत्वपूर्ण राजनीतिक पद प्राप्त करने की लालसा जागृत हो चुकी है और काँग्रेस ने 2019 लोकसभा चुनाव से पहले नरेंद्र मोदी जी को उन के ही गढ़ गुजरात में मात देने के लिए चक्रव्यूह बुनना शुरू कर दिया है। राजनीती में मृतप्रायः हो चुकी काँग्रेस कुछ भी कर सकती है और इसी कड़ी में कभी RSS, VHP को हिन्दू आतंकी संगठन कहने वाली काँग्रेस के नेता तुरन्त डॉ तोगड़िया से मिलने पहुँच गये ताकि BJP के कुछ विधायक तोड़ और तोगड़िया जी को मुख्यमंत्री पद का लालच दे कर अपने समर्थन से BJP का 23 वर्षीय किला ढहाया जा सके।

     खैर यह तो जल्द ही साफ हो जायेगा लेकिन पुलिस प्रशासन को इन बिंदुओं पर जल्द से जल्द जाँच कर जनता के सामने असलियत लानी होगी और जनता को भी काँग्रेस के ऐसे कुटिल चक्रव्यूहों को समझना और बचना होगा....

** एक नेता को पता है कि उस पर हमला हो सकता है  तो फिर बिना Z+ सुरक्षा के अकेले क्यों निकले ?

** एक चिकित्सक को शुगर के नफा नुकसान का पता रहता है तो फिर कैंसर सर्जन डॉ प्रवीण तोगड़िया अपने साथ दवा क्यों नहीं ले कर चले और समय पर दवा क्यों नहीं ली ?

** आखिर किस नम्बर से 108 एम्बुलेंस को फोन किया गया ?

** डॉ तोगड़िया सबूत सहित साफ साफ बतायें कि कौन शख्स उन को मरवाना चाहता है ?

** यदि वास्तव में कोई उन का एनकाउंटर करवाना चाहता था तो फिर उस अज्ञात शख्स ने अकेले तोगड़िया को सफलतापूर्वक अगवा कर लेने के बाद भी सुनसान रास्ते पर बेहोशी ( शुगर के कारण ) की हालत में अकेला क्यों छोड़ दिया ?

** ये कुछ सवाल ऐसे हाँ, जिन के बारे में हर सच्चे हिन्दुस्तानी को सोचना और समझना ही होगा !!!

** जयहिन्द !!
** वन्देमातरम !!