मौत और मौत में फर्क है जनाब......
अभिमन्यु गौड़......
हाँ...यही तो नाम था उस शख्स का !!
अभी चन्द दिनों पहले बेरहमी से कुचल डाला था एक ऑडी कार वाले रईसजादे ने....
RJD के पूर्व नेता और हालिया TMC में जमे हुए मोहमद सोहराब के नवाबजादे सम्बिया सोहराब....कौन हाथ लगाये ? वोटों का गणित बिगड़ जायेगा ना !!
नेताओं ने तो याद ही नहीं किया और अब मिडिया भी भूल गया....
एक सैनिक ही तो था.....कोई जाति समाज मजहब का थोड़े ही होता है सैनिक....
आज नहीं तो कल तो मरता ही, किसी आतंकी की गोली का शिकार बन कर या दे देता युद्ध में अपने प्राणों की आहुति.......
कैसी सहानुभूति.....कैसी न्यूज़ कवरेज....कैसी जाँच ??????
ना कोई पैसा मिलना, ना कोई TRP बढ़े तो फिर कैसा कवरेज ?
भई कितने वोट मिल जायेंगे, जो सैनिक के घर जायें......
मतलब की मौत तो अब हुई है......
दलित रोहित बेमुला ने आत्महत्या जो की है........
रातों रात TRP बढ़ाने के चक्कर में सब जुट गए कवरेज करने....
नेताओ के मेले....पूछो ही मत !!
राहुल अपने चचा दिग्विजय बाबू के साथ जा कर आ गए...
हाथी पर सवार मायावती जी दलितों के पहरेदार की हैसियत से पहुंचेंगी
तो केजरीवाल कहाँ पीछे रहते, पहुंचने वाले हैं झाड़ू लेकर वोट बटोरने....
और ओवेसी साहब ने भी खूब फ़रमाया कि देश के लिए बहुत कुछ करना था युवा रोहित ने, तो उसे बड़े मुआवज़े की मांग भी कर डाली...
ओवेसी जी मुझे भी दुःख है, निश्चित ही रोहित युवा था, बहुत कुछ कर सकता था तो मुआवज़ा भी बनता है लेकिन किसी ने मुँह में कुछ ठूंसा तो नहीँ था....
दो शब्द 21 साल के उस नौजवान अभिमन्यु के लिए भी बोल देते, आखिर फ़ौज में इसलिए भर्ती हुआ होगा कि वतन की रक्षा के लिए कुछ कर सके...
अभी तो बहुतो ने जाना है, भई केंद्रीय श्रम मंत्री बंडारु दत्तात्रेय का और ABVP का नाम जो आ रहा है, कोई RJD, TMC का लीडर थोड़े ही है...
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हाँ जी मामले की जाँच जरूर होनी चाहिए.....
चाहे दत्तात्रेय जी हों, अप्पा राव हो, ABVP के स्थानीय नेता हों.....
या फिर वो नेताओं का जमघट हों जिन्हें इस मौत में फायदा नजर आ रहा है......
#देबू_काका
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